Tuesday, April 23, 2024
Advertisement

भारत-चीन गतिरोध के मद्देनजर अपनी कूटनीति तैयार रखे अमेरिका

अमेरिका खुफिया एजेंसी सीआईए के पूर्व विश्लेषक ब्रूस रीडेल ने आज कहा कि भारत और चीन के बीच सिक्किम सेक्टर के डोकलाम में चल रहे गतिरोध का अमेरिका सहित पूरे विश्व पर गंभीर परिणाम पड़ रहा है।

India TV News Desk Edited by: India TV News Desk
Published on: August 09, 2017 13:54 IST
Bruce Reedel former analyst of the US intelligence agency...- India TV Hindi
Bruce Reedel former analyst of the US intelligence agency CIA

वाशिंगटन: अमेरिका खुफिया एजेंसी सीआईए के पूर्व विश्लेषक ब्रूस रीडेल ने आज कहा कि भारत और चीन के बीच सिक्किम सेक्टर के डोकलाम में चल रहे गतिरोध का अमेरिका सहित पूरे विश्व पर गंभीर परिणाम पड़ रहा है। इसलिए ट्रंप प्रशासन को अपनी कूटनीति तैयार रखनी चाहिए। रीडेल फिलहाल वाशिंगटन के थिंक टैंक ब्रूकिंग्स इंस्टीट्यूट में कार्यरत हैं। उनका कहना है कि भारत और चीन दोनों ही देशों ने हिमालय क्षेत्र में एक दूसर के खिलाफ अपना पारंपरिक सैन्य बल तैयार रखा है। उन्होंने डेली बीस्ट में ऑप-एड पन्ने पर लिखा है, चीन और भारत दोनों ही परमाणु हथियार संपन्न देश हैं और इनकी परमाणु शस्त्रों से लैस मिसाइलें नयी दिल्ली और बीजिंग को लक्ष्य करके तैनात हैं। दोनों ही बड़ी आर्थिक शक्तियां हैं और दोनों के बीच व्यापक व्यापारिक संबंध हैं। (भूटान ने डोकलाम को माना चीन का हिस्सा, चीनी अधिकारी का दावा)

भारतीय सेना द्वारा चीनी सेना को यहां सड़क निर्माण करने से रोकने के बाद दोनों देशों के बीच शुरू हुआ गतिरोध पिछले 50 दिनों से जारी है। रीडेल ने कहा, यह ऐसा टकराव है जिसका पूरी दुनिया पर गंभीर परिणाम होंगे। किसी भी पक्ष ने अमेरिका से हस्तक्षेप के लिए नहीं कहा है लेकिन अमेरिकियों के हित दांव पर हैं। अपने लेख में उन्होंने लिखा कि भूटान में चीन का घुसपैठ प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की व्हाइटहाउस की यात्रा के समय हुआ जो संभवत: बीजिंग की ओर से जानबूझा कर उठाया गया कदम है। लेख में कहा गया, वाशिंगटन को अपनी कूटनीति तैयार रखनी चाहिए। हमें विदेश मंत्रालय के दक्षिण एशिया ब्यूरो में अनुभवी लोगों की जरूरत है। इससे निपटने के लिए हमें सर्वश्रेष्ठ राजनयिक चाहिए। भारत के साथ हमारे सैन्य संबंधों पर नजर रखने की जरूरत है। जॉन एफ. कैनेडी 1962 में पूरी तरह तैयार थे, हमें बिना तैयारी के नहीं रहना चाहिए।

चीन और भारत के बीच 1962 में हुए युद्ध के दौरान कैनेडी अमेरिका के राष्ट्रपति थे। रीडेल ने 2015 में जेएफके फॉरगॉटन क्राइसिस: तिब्ब्त, द सीआईए एंड द साइनो इंडिया वॉर नामक एक पुस्तक लिखी थी जिसका पेपरबैक एडीशन शीघ्र ही आने वाला है। पुस्तक में बताया गया है कि 1962 में भारत और चीन के बीच युद्ध के दौरान किस प्रकार तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति जॉन एफ कैनेडी भारत के समर्थन में आगे आए थे।

Latest World News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। US News in Hindi के लिए क्लिक करें विदेश सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement