Thursday, April 18, 2024
Advertisement

धरती की ओर तेजी से बढ़ रही है ‘तबाही’! क्या हो जाएगा 1908 जैसा हाल?

ब्रह्मांड का एक क्षुद्रग्रह (एस्टेरॉयड) आने वाले समय में धरती के लिए मुसीबत साबित हो सकता है।

IndiaTV Hindi Desk Edited by: IndiaTV Hindi Desk
Published on: August 27, 2019 19:05 IST
धरती की ओर तेजी से बढ़...- India TV Hindi
धरती की ओर तेजी से बढ़ रही है ‘तबाही’! (Representative Image)

वॉशिंगटन: ब्रह्मांड का एक क्षुद्रग्रह (एस्टेरॉयड) आने वाले समय में धरती के लिए मुसीबत साबित हो सकता है। इस क्षुद्रग्रह को 2000 QW7 नाम दिया गया है, जो तेज गति से धरती की ओर बढ़ रहा है। हालांकि, यह धरती से टकरा सकता है या नहीं इसके बारे में कोई आधिकारिक जानकारी नहीं है लेकिन अगर यह धरती से टकरा जाता है तो पूरी दुनिया में भारी तबाही का कारण बन सकता है। 

अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी NASA के मुताबिक, यह एस्टेरॉयड सिडनी हार्बर ब्रिज की लंबाई के बराबर का है और पृथ्वी की ओर तेजी से बढ़ रहा है। 23,100 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से यह एस्टेरॉयड 14 सितंबर को लगभग 5.3 मिलियन किलोमीटर की दूरी पर पृथ्वी के पास से गुजरेगा। 2000 QW7 एस्टेरॉयड, धरती और चंद्रमा के बीच की दूरी से करीब 13.87 गुना ज्यादा दूरी से गुजरेगा।

अगर एस्टेरॉयड धरती से 149.6 मिलियन किलोमीटर के दायरे से गुजरता है तो उसे पृथ्वी के निकट माना जाता है। आखिरी बार साल 2000 में 1 सितंबर को यह एस्टेरॉयड धरती के संपर्क में आया था। वहीं, इससे अलग एक दूसरा छोटा एस्टेरॉयड QV89 साल 2006 में 27 सितंबर को धरती के करीब से गुजरने वाला था ऐसा नहीं हुआ। उसे फिर कभी नहीं देखा गया।

बता दें कि ब्रह्मांड में बहुत से उल्कापिंड, धूमकेतु और क्षुद्रग्रह मौजूद हैं और यह किसी भी ग्रह के गुरुत्वाकर्षण के दायरे में आने ने पर उससे टकराकर खत्म हो जाते हैं। अगर ऐसा कभी धरती के साथ होता है तो यह एक बड़ी तबाही का कारण बन सकता है। 1908 में एक बार ऐसा हो चुका है। साइबेरिया के टुंगुस्का में एक क्षुद्रग्रह धरती से टकराने से पहले जलकर नष्ट हो गया था। इसकी वजह से क़रीब 100 मीटर बड़ा आग का गोला बना, जिसकी वजह से करीब आठ करोड़ पेड़-पौधे नष्ट हो गए थे।

Latest World News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। US News in Hindi के लिए क्लिक करें विदेश सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement