बीजिंग: वित्त मंत्री अरूण जेटली ने शुक्रवार को ब्रेग्जिट के मौजूदा रूझानों पर टिप्पणी करने से इंकार करते हुए कहा कि वह पूरे नतीजे आ जाने तक इंतजार करना पसंद करेंगे। एक व्यापार सम्मेलन में ब्रेग्जिट के नतीजों के बारे में भारत की चिंता से जुड़ा सवाल पूछे जाने पर जेटली ने कहा, मुझे लगता है कि जब गणना जारी हो और मुकाबला बेहद करीबी हो तो आप इस स्थिति में मुझसे टिप्पणी करने की अपेक्षा नहीं कर सकते। उन्होंने कहा कि वह पूरे नतीजे आने तक इंतजार करेंगे।
ब्रिटेन के यूरोपीय संघ में रहने या इससे बाहर निकल आने का फैसला एक ऐतिहासिक जनमत संग्रह के नतीजों से होना है। इस ऐतिहासिक जनमत संग्रह में लाखों ब्रितानियों ने गुरुवार को वोट डाले थे और इस समय पूरे ब्रिटेन में मतगणना जारी है। दोनों ही पक्षों ने 12 लाख ब्रितानी-भारतीयों समेत लगभग 46,499,537 पंजीकृत मतदाताओं से बड़ी संख्या में मतदान करने आने की अपील की थी।
प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने अपनी अंतिम अपील में कहा था, बाहर निकलकर आइए और रिमेन के पक्ष में मतदान कीजिए और ब्रेग्जिट या यूरोपीय संघ से ब्रिटेन के निकलने के पैरोकार खेमे (लीव खेमे) के असत्यों को खारिज कर दीजिए। रिमेन अभियान ब्रिटेन के यूरोपीय संघ में बने रहने का पक्षधर है जबकि लीव खेमा ब्रिटेन को इस समूह से अलग करने की वकालत कर रहा है।
वित्त मंत्री ने गुरुवार को अपनी पांच दिवसीय चीन यात्रा शुरू की है। उन्होंने चीन के शीर्ष बैंकरों से और वित्त कोष प्रबंधकों से मुलाकात करके भारत के अवसंरचना क्षेत्र में और अधिक निवेश जुटाने के संबंध में अपनी बात रखी। जेटली ने बीजिंग पहुंचने के कुछ ही समय बाद बैंक ऑफ चाइना के अध्यक्ष तियान गुओली से मुलाकात की और संप्रभु वित्त कोषों, संस्थागत निवेशकों और बैंकों के प्रमुखों की गोलमेज बैठक को संबोधित किया।