अमेरिकी की ओर से पिछले एक साल में भारत को 10 लाख पेटी सेब का निर्यात किया गया है। इससे पहले सेब पर आयात शुल्क में 20 प्रतिशत की वृद्धि के कारण वाशिंगटन राज्य से भारत तक सेब निर्यात बाजार में गिरावट आई थी।
Export Data: भारत के व्यापारिक घाटे में दिसंबर 2023 में कमी देखने को मिली है। इस दौरान आयात में कमी आई है। वहीं, निर्यात बढ़ा है।
अधिकारी ने कहा कि सरकार पहले ही सालाना आयात से अधिक आयात की अनुमति दे चुकी है। तो कौन सी कंपनियां हैं, किस तरह की आपूर्ति आ रही है, निर्णय लेने से पहले इसपर गौर करना होगा।
लोकल मैनुफैक्चरर ने भारतीय बाजार में लगभग 1,500 करोड़ रुपये का निवेश किया है। सरकारी हस्तक्षेप से घरेलू कंपनियों को सालाना आधार पर अपनी क्षमता बढ़ाने में मदद मिलेगी और छह महीने के भीतर रोजगार के 25,000 मौके पैदा होंगे।
हूतियों के हमलों में अहम बाब अल-मंडेब जलडमरूमध्य से गुजरने वाले मालवाहक जहाजों को निशाना बनाया गया है। बाब अल-मंडेब जलडमरूमध्य एशिया और यूरोप को जोड़ता है। अमेरिका और उसके सहयोगियों ने जहाज यातायात की सुरक्षा के लिए ‘ऑपरेशन प्रॉस्पेरिटी गार्जियन’ का गठन किया है और वर्तमान में अमेरिका, फ्रांस और ब्रिटेन के युद्धपोत इस क
विदेश व्यापार महानिदेशक (DGFT) ने कहा कि एक इम्पोर्टर अभी से इम्पोर्ट का लाइसेंस हासिल करने के लिए सिस्टम पर अप्लाई कर सकता है।
सरकार ने आईटी हार्डवेयर के आयात के नए नियमों को एक नवंबर से लागू करने का प्रस्ताव दिया है। नए नियमों के तहत आईटी हार्डवेयर का आयात अधिकृत कंपनियों द्वारा किया जा सकेगा।
केंद्र सरकार ने 20 जुलाई को गैर-बासमती सफेद चावल के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया था।
चीन का निर्यात में बड़ी गिरावट के बाद सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी पर आर्थिक मंदी को दूर करने का दबाव बढ़ गया है।
भारत भले ही चीन पर अपनी निर्भरता अगल-अलग क्षेत्रों में धीरे-धीरे कम कर रहा है, लेकिन वह अभी भी दवाओं पर चीन से अपना पीछा नहीं छुड़ा पाया है। एक रिपोर्ट के मुताबिक चीन से दवाओं का भारत ने 75 फीसद तक आयात किया है। यह रिपोर्ट निश्चित ही आत्मनिर्भर भारत के लिए चिंताजनक है।
वर्ष 2021-22 में 25.6 अरब की तुलना में वर्ष 2022-23 में दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय व्यापार बढ़कर 27.9 अरब डॉलर का हो गया
रिपोर्ट के मुताबिक बीते वित्त वर्ष में चिकित्सा उपकरणों का आयात सालाना आधार पर 13.6 प्रतिशत घटकर 2.2 अरब अमेरिकी डॉलर रह गया।
भारत के आयात में रूस की हिस्सेदारी 34 प्रतिशत हो गई है। मार्च में भारत की रूस से कच्चे तेल की खरीद इराक से दोगुना रही है। इस दौरान इराक से कच्चे तेल का आयात 8.1 लाख बैरल प्रतिदिन से अधिक रहा है।
India China Business: भारत का चीन के साथ व्यापार तेजी से बढ़ रहा है। भारत बड़े स्तर पर चीन से निर्यात कर रहा है। चीन अमेरिका के बाद भारत का दूसरा बड़ा ट्रेडिंग पार्टनर है, जहां सरप्लस नहीं बल्कि व्यापार घाटा है।
रुपये का गिरना निर्यातकों के लिए सुनहरा अवसर माना जाता है। लेकिन मंदी और महंगाई के इस दौर में निर्यातक इस स्वर्णिम मौके को भी नहीं भुना सके और आंकड़ों में गिरावट दर्ज की गई है।
चालू वित्त वर्ष में देश का कुल निर्यात 450 अरब डॉलर के पार जाने की उम्मीद है।
South China Sea: 2018 में पांच एशियाई देशों ने 87 फीसदी ईंधन आयात की आपूर्ति की है। ये देश हैं दक्षिण कोरिया (27 फीसदी), सिंगापुर (26 फीसदी), जापान (15 फीसदी) मलेशिया (10 फीसदी) और ताइवान (9 फीसदी)। शेष आयात भारत (6 फीसदी), मध्य पूर्व (1 फीसदी) और वियतनाम और फिलीपींस (6 फीसदी) सहित विश्व से आया है।
रूस के यूक्रेन पर हमले का विरोध करने वाले जर्मनी ने पिछले दो माह में सबसे ज्यादा फ्यूल रूस से खरीदा है।
आर्थिक संकट को गहराता देखकर नेपाल की सरकार ने कई लग्जरी वस्तुओं के आयात पर प्रतिबंध लगा दिया है।
इसमें बंदरगाहों, अंतर्देशीय कंटेनर डिपो, एयर कार्गो परिसर और एकीकृत चेक पोस्ट पर आयातित उत्पाद को दी जानी सीमा-शु्ल्क मंजूरी में लगने वाले समय का अध्ययन किया गया है।
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