उतरते समय मून लैंडर ओडीसियस का एक पैर चंद्रमा पर फंस गया था। इससे यह एक ओर झुक गया है। स्टैंडबाय मोड का उद्देश्य लैंडर की क्षमता को दो से तीन हफ्ते तक और काम करने के लिए बनाया गया था।
चांद से एक बार फिर खुशखबरी आई है। खुशखबरी यह है कि चंद्रमा पर गए एक चंद्रयान ने 9 दिन तक 'शांत' रहने के बाद फिर से काम करना शुरू कर दिया है। इस देश ने भारत के बाद अपना चंद्रयान चंद्रमा के लिए छोड़ा था। इससे पहले इस देश ने तीन बार यह चंद्र मिशन टाल दिया था।
भारत सरकार ने नोटिफिकेशन जारी करते हुए कहा है कि हर साल 23 अगस्त को नेशनल स्पेस डे मनाया जाएगा। दरअसल इसी दिन चंद्रयान 3 के लैंडर और प्रज्ञान रोवर ने चंद्रमा की सतह पर लैंड किया था। इसी दिन की याद में हर साल नेशनल स्पेस डे मनाया जाएगा।
हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर फैक्ट्री लगाने की मांग कर रही महिला को दिए एक जवाब को लेकर विपक्षी पार्टी के निशाने पर आ गए हैं।
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान ने आज चंद्रमा की एक 3D तस्वीर जारी की है। चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर गए प्रज्ञान रोवर ने यह तस्वीर ली है। तस्वीर पोस्ट करते ही सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है।
इसरो प्रमुख एस सोमनाथ ने पहले कहा था कि चंद्र मिशन के रोवर और लैंडर चंद्रमा की रात में निष्क्रिय हो जाएंगे। इसके 14 दिनों बाद जब वहां उस्बह होगी तब इनके सक्रिय होने की उम्मीद है।
भारत अब तक चांद पर तीन मिशन भेज चुका है। साल 2008 में चंद्रयान-1 को लॉन्च किया गया था। इसमें एक प्रोब की क्रैश लैंडिंग कराई गई थी जिससे चांद पर पानी के बारे में पता चला था। फिर 2019 में चंद्रयान-2 चांद के करीब पहुंचा, लेकिन लैंड नहीं कर पाया। 23 अगस्त 2023 को चंद्रयान-3 के चांद पर लैंड करते ही भारत ने रिकॉर्ड बना दिया।
भारत अब तक चांद पर तीन मिशन भेज चुका है। साल 2008 में चंद्रयान-1 को लॉन्च किया गया था। इसमें एक प्रोब की क्रैश लैंडिंग कराई गई थी जिससे चांद पर पानी के बारे में पता चला था। फिर 2019 में चंद्रयान-2 चांद के करीब पहुंचा, लेकिन लैंड नहीं कर पाया। 23 अगस्त 2023 को चंद्रयान-3 के चांद पर लैंड करते ही भारत ने रिकॉर्ड बना दिया।
चंद्रयान-3 की सफलता के बाद रविवार को इसरो प्रमुख ने तिरुवनंतपुरम में मीडिया से बात करते हुए बताया कि चंद्रमा की सबसे अच्छी तस्वीर केवल हमारे पास है।
अखिल भारतीय हिंदू/संत महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी चक्रपाणि ने कहा है कि इससे पहले किसी अन्य विचारधारा के लोग चांद पर पहुंचे उससे पहले चांद को हिंदू राष्ट्र घोषित कर दिया जाए।
भारत ने चांद के दक्षिणी हिस्से पर चंद्रयान को लैंड कराकर एक नया इतिहास बना दिया है। भारत के इस मिशन पर दुनियाभर की नजरें बनी हुई थीं। इसरो अब लैंडर और रोवर की फोटो और वीडियो भी जारी कर रहा है।
दो देशों के दौरे से लौटते हुए पीएम मोदी सीधे बेंगलुरु में इसरो के वैज्ञनिकों से जाकर मिले। इसके बाद वह दिल्ली आये। दोनों जगह एयरपोर्ट के बाहर पीएम का भव्य स्वागत किया गया।
चंद्रमा की सतह पर लैंड कर चुके चंद्रयान 3 का पेलोड पूरी तरह से काम कर रहा है। इसरो ने आज ट्वीट कर जानकारी दी और कई बाते बताईं।
मोदी ने याद दिलाया कि हमारे प्राचीन ग्रंथों में, वेदों में, पुराणों में, स्पेस साइंस का अपार भंडार है, उसे आज के ज़माने से जोड़ने की ज़रूरत है, ज्ञान के इस भंडार का उपयोग करने की ज़रूरत है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज सुबह जब बेंगलुरु के एचएएल एयरपोर्ट पहुंचे तब उनके स्वागत के लिए ना ही राज्यपाल मौजूद थे और न ही कर्नाटक के मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री मौजूद थे।
23 अगस्त को चंद्रयान-3 ने चंद्रमा के दक्षिणी भाग की सतह पर सफलतापूर्वक लैंडिंग की। इसके साथ ही भारत ऐसा करने वाला पहला देश बन गया था।
चंद्रयान की सफलता के बाद भारत का झंडा पूरी दुनिया में बुलंद है। भारत में हर ओर लोगों के बीच इस कामयाबी पर उत्सव का माहौल है।
सूरज के रहस्यों पर अभी भी पर्दा पड़ा हुआ है। यहां कई ऐसे राज दबे हुए हैं, जिससे हम सभी अंजान हैं। इन तमाम राज को उजागर करने के लिए भारत आदित्य-एल1 मिशन लॉन्च कर रहा है।
चांद पर लैंडिंग के बाद लैंडर ने चंद्रमा की पहली तस्वीर भी भेज दी है। वहीं, प्रज्ञान रोवर लैंडर विक्रम से बाहर आकर चंद्रमा की जमीन पर पहुंच गया है। अब 14 दिनों तक लैंडर विक्रम और रोवर प्रज्ञान चांद की सतह पर अलग-अलग लेवल पर रिसर्च करेंगे।
चांद के दक्षिणी हिस्से पर पहुंचने वाला भारत दुनिया का पहला देश है। भारत की इस सफलता पर दुनियाभर के नेताओं को इसे ऐतिहासिक कदम बताया है।
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