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विनोद राय ने वित्त मंत्री और पीएमओ को लिखा पत्र, डूबे कर्ज पर रूपरेखा का सुझाव दिया

बढ़ती एनपीए पर चिंता जताते हुए बैंक बोर्ड ब्यूरो (बीबीबी) के प्रमुख विनोद राय ने वित्त मंत्री अरुण जेटली और प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) को पत्र लिखा है।

Dharmender Chaudhary Dharmender Chaudhary
Updated on: March 19, 2017 13:34 IST
विनोद राय ने वित्त मंत्री और पीएमओ को लिखा पत्र, डूबे कर्ज पर रूपरेखा का सुझाव दिया- India TV Paisa
विनोद राय ने वित्त मंत्री और पीएमओ को लिखा पत्र, डूबे कर्ज पर रूपरेखा का सुझाव दिया

नई दिल्ली। बढ़ती गैर निष्पादित आस्तियों (एनपीए) पर चिंता जताते हुए बैंक बोर्ड ब्यूरो (बीबीबी) के प्रमुख विनोद राय ने वित्त मंत्री अरुण जेटली और प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) को पत्र लिखा है। राय ने पत्र में सरकारी बैंकों द्वारा डूबे कर्ज के मुद्दे को सुलझाने की सुस्त रफ्तार पर चिंता जताई है।

आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि प्रधानमंत्री के प्रमुख सचिव नृपेंद्र मिश्र को लिखे पत्र में राय ने मुख्य रूप से सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के समक्ष आ रही एनपीए की समस्या से निपटने के लिए रूपरेखा का सुझाव दिया है।

  • सूत्रों ने कहा कि पत्र में ओवरसाइट कमेटी का दायरा बढ़ाने का सुझाव दिया गया है।
  • इसे उपलब्ध व्यवस्था के तहत गहरे पुनर्गठन, संयुक्त ऋणदाता मंच (जेएलआर) और रणनीतिक ऋण पुनर्गठन (एसडीआर) के लिए दिशानिर्देशन उपलब्ध हो सकेगा।
  • वित्त वर्ष 2016-17 की अप्रैल-दिसंबर की अवधि में सरकारी बैंकों का डूबा कर्ज करीब एक लाख करोड़ रुपए बढ़ गया।
  • इनमें से मुख्य रूप से बुनियादी ढांचा क्षेत्रों मसलन बिजली, इस्पात और सड़क और परिधान की वजह से एनपीए बढ़ा है।

जेटली ने पिछले सप्ताह रिजर्व बैंक के गवर्नर उर्जित पटेल और दो डिप्टी गवर्नरों एस एस मुंदड़ा और विरल वी आचार्य के साथ बैंकिंग क्षेत्र की दबाव वाली परिसंपत्तियों की समस्या से निपटने के लिए बैठक की थी।

  • 31 दिसंबर, 2016 तक सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों का सकल एनपीए बढ़कर 6,06,911 करोड़ रुपए हो गया।
  • इस दौरान अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों की कुल दबाव वाली परिसंपत्तियां (सकल एनपीए और पुनगर्ठित ऋण) 9.64 लाख करोड़ रुपए हो गईं।

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