Tuesday, April 16, 2024
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नीट एग्जाम: तमिल अनुवाद करने में हुई गलती पर कोर्ट का आदेश- सभी छात्रों को दिए जाएं 196 अंक, दोबारा जारी हो मेरिट

मेडिकल में प्रवेश की परीक्षा नीट के तमिल पेपर में अनुवाद संबंधी कई तरह की गलतियां सामने आई थी जिससे परीक्षा में बैठे छात्रों को दुविधा का सामना करना पड़ा था।

IndiaTV Hindi Desk Edited by: IndiaTV Hindi Desk
Updated on: July 10, 2018 19:40 IST
चित्र का इस्तेमाल...- India TV Hindi
Image Source : PTI चित्र का इस्तेमाल प्रतीक के तौर पर किया गया है।

मदुरै: मद्रास उच्च न्यायालय ने मंगलवार को सीबीएसई को आदेश दिया कि क्षेत्रीय भाषा से इस वर्ष मेडिकल में प्रवेश की परीक्षा नीट में शामिल होने वाले सभी प्रतिभागियों को 196 अंक दिए जाएं। परीक्षा में कुल 49 प्रश्नों में त्रुटियां थी , जिनके लिए प्रति प्रश्न चार अंक देने का आदेश दिया गया है। मदुरै पीठ के न्यायमूर्ति सीटी सेल्वम और न्यायमूर्ति एएम बशीर अहमद ने जनहित याचिका पर यह आदेश दिया। पीठ ने सीबीएसई से कहा कि वह योग्य उम्मीदवारों की सूची को संशोधित कर इसे फिर से प्रकाशित करे। 

याचिकाकर्ता माकपा के नेता टीके रंगराजन ने सभी 49 प्रश्नों के लिए पूरे - पूरे अंक देने की मांग की थी। उनका कहना था कि महत्वपूर्ण शब्दों का अंग्रेजी से तमिल में अनुवाद गलत हुआ है और इससे छात्र उनमें उलझ गए। अभी कुछ दिन पहले ही 5 जुलाई को बोर्ड ने नीट परीक्षा के नतीजे जारी किए है। इस परीक्षा में कल्पना कुमारी नाम की एक लड़की ने 99.99 फीसदी अंको के साथ इस परीक्षा में टॉप किया है। उन्हें कुल 720 में से 691 अंक मिले हैं।

वहीं, दूसरे स्थान पर तेलंगाना के रोहन पुरोहित हैं और दिल्ली के हिमांशु ने तीसरे स्थान पर अपनी जगह बनाई। लेकिन अब इस मामले में कोर्ट ने सीबीएसई को दोबारे मेरिट लिस्ट जारी करने को कहा है। कोर्ट ने सीबीएसई को इस के लिए दो हफ्ते का वक्त दिया है साथ ही कोर्ट ने तब तक के लिए सभी मेडिकल काउंसलिंग को भी निरस्त करने का आदेश सुनाया है।

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