Friday, April 19, 2024
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नोटबंदी में 2 लाख कंपनियों ने किया 'खेल', पहली किश्त में 5000 करोड़ का फर्जीवाड़ा

रिपोर्ट के मुताबिक इन 58 सौ कंपनियों में 8 नवंबर 2016 यानी नोटबंदी की तारीख तक केवल 22 करोड़ पांच लाख रुपये जमा थे लेकिन 9 नवंबर 2016 के बाद जमा राशि में अचानक इजाफा हुआ और रकम चार हजार पांच सौ तिहत्तर करोड़ रुपये तक पहुंच गया।

India TV News Desk Written by: India TV News Desk
Published on: October 06, 2017 14:04 IST
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नई दिल्ली: कालेधन पर सरकार को बड़ी कामयाबी हाथ लगी है। 13 बैंकों ने नोटबंदी के बाद हुए लेन-देन पर सरकार को पहली रिपोर्ट सौंपी है। इस रिपोर्ट में 5800 कंपनियों के करोड़ों के संदिग्ध लेन-देन का खुलासा हुआ है। 5800 कंपनियों के 13 हजार से ज्यादा खातों में करोड़ों रुपये की हेराफेरी की गई है। जिन कंपनियों के बारे में रिपोर्ट सरकार को सौंपी गई है उनमें से कई ऐसी कंपनियां हैं जिनके 5 सौ से ज्यादा खाते हैं।

इन खातों में नोटबंदी के बाद करीब 4 हजार पांस सौ तिहत्तर करोड़ रुपये जमा कराए गए थे जिनमें से करीब चार हजार पांच सौ बावन करोड़ रुपये कुछ ही दिन बाद निकाल भी लिए गए। फिलहाल 2 लाख से ज्यादा संदिग्ध कंपनियों में से केवल अट्ठावन सौ कंपनियों की ही रिपोर्ट सामने आई है।

बता दें कि 2 लाख 9 हजार 32 कंपनियों के लेन-देन संदिग्ध हैं जिस पर सरकार की पैनी नजर है। 13 बैंकों के पहली रिपोर्ट में केवल 5800 कंपनियों के लेन-देन का ब्यौरा है। 5800 कंपनियों के 13140 खातों का जिक्र किया गया है। हैरान करने वाली बात ये है कि कई कंपनियों के पास 2 हजार से लेकर 100 बैंक खाते हैं।

रिपोर्ट के मुताबिक इन 58 सौ कंपनियों में 8 नवंबर 2016 यानी नोटबंदी की तारीख तक केवल 22 करोड़ पांच लाख रुपये जमा थे लेकिन 9 नवंबर 2016 के बाद जमा राशि में अचानक इजाफा हुआ और रकम चार हजार पांच सौ तिहत्तर करोड़ रुपये तक पहुंच गया।

इसे इस तरह से भी समझा जा सकता है कि 9 नवंबर 2016 के बाद चार हजार पांच सौ तिहत्तर करोड़ सत्तासी लाख रुपये जमा कराए गए थे जिसमें से कुछ दिन बाद ही चार हजार पांच सौ बावन करोड़ रुपये निकाल लिए गए और फिर बैलेंस महज 21 करोड़ रुपये का ही रह गया।

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