Friday, April 26, 2024
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Rajat Sharma’s Blog: जम्मू-कश्मीर में जल्द विधानसभा चुनाव पाकिस्तान के लिए एक जोरदार तमाचा होगा

मैं राज्यपाल सत्यपाल मलिक की इस बात से सहमत हूं कि पिछले 12 दिनों के दौरान शांतिपूर्ण कानून व्यवस्था सर्वोच्च प्राथमिकता थी, जिसके कारण ये प्रतिबंध लगाए गए थे।

Rajat Sharma Written by: Rajat Sharma @RajatSharmaLive
Published on: August 17, 2019 12:56 IST
India TV Chairman and Editor-in-Chief Rajat Sharma | India TV- India TV Hindi
India TV Chairman and Editor-in-Chief Rajat Sharma | India TV

हालात के तेजी से सामान्य होने के साथ ही जम्मू एवं कश्मीर की सरकार ने शुक्रवार को ऐलान किया कि घाटी के स्कूल सोमवार से खुल जाएंगे। 12 दिनों के अंतराल के बाद शुक्रवार को राज्य सरकार के दफ्तरों में भी कामकाज शुरू हो गया, और लोगों ने मस्जिदों में शुक्रवार की नमाज भी अदा की। राज्य के मुख्य सचिव ने कहा, आवागमन पर प्रतिबंध चरणबद्ध तरीके से हटाया जा रहा है, जबकि कुछ स्थानों पर लैंडलाइन कनेक्शन बहाल कर दिए गए हैं। मुख्य सचिव ने कहा, 22 में से 12 जिलों में जनजीवन सामान्य हो गया है, जबकि केवल 5 जिलों में सीमित प्रतिबंध हैं। बीते 12 दिनों में न तो किसी की जान गई है और न ही एक भी गोली चलाई गई है।’

इंटरनेट और सेलफोन नेटवर्क जैसी दूरसंचार सेवाओं को धीरे-धीरे बहाल किया जाएगा क्योंकि अलगाववादी भड़काऊ और गलत अफवाहों को प्रसारित करने के लिए सोशल मीडिया का इस्तेमाल करते रहे हैं। अलगाववादियों की वजह से ही आम आदमी को मोबाइल नेटवर्क पर प्रतिबंधों के कारण समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। मैं राज्यपाल सत्यपाल मलिक की इस बात से सहमत हूं कि पिछले 12 दिनों के दौरान शांतिपूर्ण कानून व्यवस्था सर्वोच्च प्राथमिकता थी, जिसके कारण ये प्रतिबंध लगाए गए थे। ये प्रतिबंध फिर भी आम आदमी के लिए परेशानी का कारण बने, लेकिन व्यापक दृष्टिकोण से देखा जाए तो जमीनी हकीकत यह है कि इस अवधि के दौरान हिंसा की कोई घटना नहीं हुई है। इस बात का पूरा श्रेय शांतिप्रिय आम कश्मीरियों को जाता है, जिन्होंने सीमा पार से भड़काऊ बयानों के बावजूद काफी संयम बरता है।

पाकिस्तान अभी भी घाटी में हिंसा का माहौल बनाने की पुरजोर कोशिश कर रहा है, लेकिन वह अब तक नाकाम रहा है। इसने संयुक्त राष्ट्र में जाकर कश्मीर मुद्दे का अंतर्राष्ट्रीयकरण करने की भी कोशिश की, लेकिन वहां भी उसे मुंह की खानी पड़ी। पाकिस्तानी सेना अब आतंकी हमले करके घाटी में तनाव पैदा करने की कोशिश करेगी, लेकिन हमारे सुरक्षा बल हाई अलर्ट पर हैं। इस बीच, जल्द से जल्द विधानसभा चुनाव कराने की तैयारी शुरू हो गई है। मेरी जानकारी के मुताबिक, चुनाव आयोग ने सर्दियों की शुरुआत से पहले विधानसभा चुनाव कराने के लिए प्रक्रिया की शुरुआत कर दी है, और तारीखों को अंतिम रूप दिया जा रहा है। इस तरह जम्मू और कश्मीर के लोग अपनी मर्जी से अपनी सरकार चुन सकेंगे।

जम्मू और कश्मीर में शांतिपूर्ण चुनाव पाकिस्तान के चेहरे पर एक जोरदार तमाचा होगा, जो अनुच्छेद 370 के खत्म होने के बाद से ही रोना-धोना मचाए हुए है। आइए, हम आशा करते हैं कि घाटी में सद्भावना बनी रहेगी। (रजत शर्मा)

देखें: ‘आज की बात, रजत शर्मा के साथ’ 16 अगस्त 2019 का पूरा एपिसोड

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