लोकसभा में मंगलवार को जम्मू कश्मीर से धारा 370 हटाए जाने के बाद के माहौल को लेकर जमकर हंगामा हुआ। कांग्रेस के आरोपों का जवाब देते हुए अमित शाह ने कहा कि जम्मू कश्मीर में अब हालात पूरी तरह से सामान्य हो गए हैं। उन्होंने कहा कि जम्मू कश्मीर में 5 अगस्त को हुए बदलाव के बाद जहां विपक्ष खून की नदियां बहने की बात कह रहा था, वहीं 370 हटने के बाद वहां एक भी गोली नहीं चली है। वहीं नजरबंद नेताओं की रिहाई को लेकर शाह ने कहा कि जम्मू-कश्मीर में हिरासत में लिए गए नेताओं को छोड़ने का निर्णय स्थानीय प्रशासन की ओर से लिया जाएगा
इससे पहले सदन में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने जम्मू कश्मीर की खराब स्थिति का मुद्दा उठाते हुए सरकार से पूछा कि वहां हालात कब तक सामान्य होंगे। उन्होंने सरकार से यह भी पूछा कि राहुल गांधी को कश्मीरे क्यों नहीं जाने दिया गया। जवाब देते हुए अमित शाह ने कहा कि वहां 370 हटने के बाद निकाय चुनाव बेहद शांतिपूर्ण तरीके से हुए हैं। कांग्रेस पर तंज कसते हुए अमित शाह ने कहा कि कश्मीर के हालात तो नॉर्मल हो गए हैं लेकिन कांग्रेस के हालात के लिए मैं कुछ नहीं कर सकता।
नेताओं की हिरासत पर फैसला स्थानीय प्रशासन लेगा
गृह मंत्री अमित शाह ने मंगलवार को लोकसभा में कहा कि जम्मू-कश्मीर में हिरासत में लिए गए नेताओं को छोड़ने का निर्णय स्थानीय प्रशासन की ओर से लिया जाएगा तथा वहां के मामले में केंद्र सरकार दखल नहीं देगी। उन्होंने कहा कि जब स्थानीय प्रशासन को लगेगा कि नेताओं को रिहा करने का उचित समय है तो इस बारे में निर्णय लिया जाएगा। केंद्र किसी तरह का दखल नहीं देगा। दरअसल, चौधरी ने सवाल किया था कि जम्मू-कश्मीर में फारूक अब्दुल्ला और दूसरे नेताओं को कब रिहा किया जाएगा तथा क्या वहां राजनीति गतिविधि बहाल है ?