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Hindi News पैसा बिज़नेस जियो के बाद RIL कर रही है भारत की पहली और बड़ी कार्बन फाइबर यूनिट में निवेश, 30 हजार करोड़ रुपए के बाजार पर है नजर

जियो के बाद RIL कर रही है भारत की पहली और बड़ी कार्बन फाइबर यूनिट में निवेश, 30 हजार करोड़ रुपए के बाजार पर है नजर

मुकेश अंबानी के नेतृत्‍व वाली रिलायंस इंडस्‍ट्रीज लिमिटेड (आरआईएल) भारत की पहली और सबसे बड़ी कार्बन फाइबर व‍िनिर्माण इकाई में निवेश कर रही है। कंपनी ने अपनी वार्षिक रिपोर्ट में कहा है कि एयरोस्‍पेस और डिफेंस जरूरतों को पूरा करने के लिए यह निवेश किया जा रहा है।

mukesh ambani- India TV Paisa Image Source : MUKESH AMBANI mukesh ambani

नई दिल्‍ली। मुकेश अंबानी के नेतृत्‍व वाली रिलायंस इंडस्‍ट्रीज लिमिटेड (आरआईएल) भारत की पहली और सबसे बड़ी कार्बन फाइबर व‍िनिर्माण इकाई में निवेश कर रही है। कंपनी ने अपनी वार्षिक रिपोर्ट में कहा है कि एयरोस्‍पेस और डिफेंस जरूरतों को पूरा करने के लिए यह निवेश किया जा रहा है। दुनिया की सबसे बड़ी ऑयल रिफाइनिंग कॉम्‍प्‍लेक्‍स का परिचालन करने वाली रिलायंस कम लागत और अधिक मात्रा में कम्‍पोजिट उत्‍पादों जैसे मॉड्यूलर शौचालय, घर और विंडमिल ब्‍लैड्स एवं रोटर ब्‍लैड्स के लिए कम्‍पोजिट्स का भी निर्माण करेगी।   

रिलायंस इंडस्ट्रीज ने इसके लिए किए जा रहे निवेश का ब्यौरा तो नहीं दिया है लेकिन कहा है कि उसने प्लास्टिक और धातु उत्पादों की विस्तृत श्रृंखला के 3 डी प्रिंटिंग के लिए क्षमताएं विकसित की हैं। कंपनी ने कहा है कि आरआईएल देश की पहली व सबसे बड़ी कार्बन फाइबर उत्पादन इकाई में निवेश कर रही है ताकि भारत की एयरोस्पेस व रक्षा संबंधी जरूरतों को पूरा किया जा सके।  

कंपनी ने पिछले साल केमरोक इंडस्ट्रीज की संपत्तियों का अधिग्रहण किया था ताकि कंपोजिट कारोबार में उतर सके। कंपनी ग्लास व कार्बन फाइबर रिइनफोर्स्‍ड पॉलीमर (एफआरपी) जैसे थर्मोसेट कंपोजिट पर ध्यान दे रही है। रिलायंस 30,000 करोड़ रुपए के कंपोजिट बाजार पर कब्‍जा जमाने के लिए पेट्रोके‍मीकल्‍स बिजनेस में नए बिजनेस वर्टिकल का विकास कर रही है।

कंपोजिट का उद्योगों, रेलवे, रिन्‍यूएबल एनर्जी, डिफेंस और एयरोस्‍पेस में बहुत ज्‍यादा उपयोग होता है। कंपनी ने कहा है कि उसे उम्‍मीद है कि नई शुरू की गई रिलायंस कंपोजिट सॉल्‍यूशंस (आरसीएस) भारत में नंबर वन कंपनी होगी।

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