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विदेशी हाथों में खेल रहे हैं ईवीएम का विरोध करने वाले: जावड़ेकर

प्रकाश जावड़ेकर ने ईवीएम का विरोध करने वालों पर निशाना साधते हुए उन पर विदेशी हाथों में खेलने का आरोप लगाया। जावड़ेकर ने कहा कि विरोधी दल आगामी लोकसभा चुनाव में संभावित हार को देखते हुए बहाने तलाश रहे हैं।

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जयपुर: केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने ईवीएम का विरोध करने वालों पर निशाना साधते हुए उन पर विदेशी हाथों में खेलने का आरोप लगाया। जावड़ेकर ने कहा कि विरोधी दल आगामी लोकसभा चुनाव में संभावित हार को देखते हुए बहाने तलाश रहे हैं। जावड़ेकर ने यहां संवाददाताओं से बातचीत में कांग्रेस और उसके संभावित गठबंधन के घटक दलों की कोलकाता रैली का जिक्र किया। उन्होंने कहा, ‘‘कोलकाता की रैली में घोषणा पत्र संबंधी समिति नहीं बनी। इतने दल एकत्र हुए लेकिन न्यूनतम साझा कार्यक्रम पर समिति नहीं बनी। उन्होंने एक समिति बनाई, वह भी ईवीएम के बारे में। यानी उन्हें मालूम है कि वे हारने वाले हैं अैर इसी लिए वे हार का बहाना ईवीएम को बनाना चाहते हैं। कोलकाता और लंदन में कांग्रेस प्रायोजित ईवीएम नाटक हुआ।'

ईवीएम को लेकर लंदन में हुए संवाददाता सम्मेलन और वहां कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल की उपस्थिति पर सवाल उठाते हुए जावड़ेकर ने कहा,‘'वे विदेशी हाथों में खेल रहे हैं। कांग्रेस अभी इस तरह के और नाटक करेगी और इसी कारण जनता से ज्यादा दूर जाएगी।’’ उन्होंने भरोसा जताया कि भाजपा को आगामी लोकसभा चुनाव में और अधिक सीटें मिलेंगी। उन्होंने कहा,‘‘हमें पूरा विश्वास है कि नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में राजग को जबरदस्त सफलता मिलेगी। हमें 2015 के पिछले चुनाव से भी ज्यादा सीटें और वोट मिलेंगे। इस बार पूर्वोत्तर, पश्चिम बंगाल और ओड़िशा में भी हमें भारी सफलता मिलेगी। राजस्थान में हम 25 में से 25 सीटें जीतेंगे।

उन्होंने कहा,‘‘प्रधानमंत्री मोदी ने जातिवाद मुक्त, आतंकवाद मुक्त, संप्रदाय मुक्त, गरीबी मुक्त, तुष्टिकरण मुक्त और बेरोजगारी मुक्त 21वीं सदी के नये भारत का सपना दिया और इसे साकार करने को लेकर काम शुरू हुआ है।’’

जावड़ेकर ने कहा कि राज्य की कांग्रेस सरकार ने अपने पहले एक महीने में राजस्थान को पूरी तरह निराश किया है। किसानों की कर्जमाफी पर 34 दिन में कोई ठोस काम नहीं हुआ है। केवल बिना सिर पैर वाली एक घोषणा की गई है। इसी तरह बेरोजगारों को भत्ते का अब वे नाम नहीं ले रहे हैं। 
उन्होंने कहा,‘‘रोजगार, बेरोजगारी भत्ते और किसानों को कर्जमाफी के तीनों बिंदुओं पर गहलोत सरकार विफल रही है।’’

केंद्र सरकार ने आरक्षण का ऐतिहासिक फैसला किया। इसी तरह केंद्रीय संस्थानों में इसी वर्ष से प्रवेश में दस प्रतिशत आरक्षण के आदेश जारी किए गए हैं लेकिन राज्य सरकार ने इस बारे में कोई कदम नहीं उठाया है। एक सवाल के जवाब में जावड़ेकर ने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे राज्य की लोकप्रिय नेता हैं और वह यहां बड़ी भूमिका में रहेंगी।

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